BIGGEST BHANDARA HELD : भंडारा इतना बड़ा की JCB की सहायता से तैयार हो रहा है भोजन। हजारों लोगो के लिए बनेगा खाना।

13 मई को प्रसंग का पांचवा दिन था। इस दिन यहां एक लाख से अधिक श्रद्धालु कथा सुनने आए। इतनी संख्या में श्रद्धालुओं के आने से पंडाल छोटा हो गया। रातों-रात लोगों की इतनी संख्या देखकर पंडाल को बढ़ा दिया गया। भक्तों की संख्या को देखते हुए, प्रसादी के लिए अलग-अलग व्यवस्था की गई है, भूमिया सरकार के मीडिया प्रभारी प्रेमनारायण शर्मा ने बताया।

यहां श्रद्धालुओं के लिए मालपुआ, पूड़ी, सब्जी, खीर, बूंदी और बहुत कुछ बनाया जाता है। कमाल की बात यह है कि जेसीबी की बर्बादी से भुमिया सरकार को धन मिल रहा है। कड़ाई में बनकर तैयार होने पर आलू की सब्जी को ट्रेक्टरों की ट्रॉलियों में जेसीबी से भरा जाता है।

बाद में, इसे अलग-अलग लाइनों में बैठे श्रद्धालुओं को खिलाया जाता है। Sharma ने कहा कि ये भगवान का खेल है। हमें पता था कि प्रशंसक बहुत होंगे। लेकिन वह नहीं जानता था कि श्रद्धालुओं की भीड़ इतनी बड़ी होगी। इसलिए, उनके लिए भोजन की व्यवस्था भी उनकी संख्या के अनुरूप होनी चाहिए।

उनका कहना था कि इसलिए जेसीबी को भंडारे के लिए बुला दिया गया था। जेसीबी मिनटों में दर्जनों कारीगरों की जरूरत का काम कर रहा है। यहां, हमने हर सेक्टर के अनुसार लोगों को बैठाया है। भंडारा चार क्षेत्रों में बंटा हुआ है। इन क्षेत्रों को 10 बीघा जमीन पर बनाया गया है।

उनका कहना था कि इसलिए जेसीबी भंडारे के लिए बुलाई गई। जेसीबी मिनटों में वही काम कर रहा है जो दर्जनों कारीगरों की आवश्यकता होती है। यहां, हमने हर व्यक्ति को क्षेत्र के अनुसार बैठाया है। भंडारा क्षेत्र चार क्षेत्रों में विभाजित है। दस बीघा जमीन पर ये क्षेत्र बनाए गए हैं।

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श्रद्धालु इस व्यवस्था से बहुत खुश हैं। माना जाता है कि यह पहली बार इस स्थान पर हुआ है। महाराज देवकी नंदन ठाकुर ने सुना। इसके बावजूद, इतना बड़ा भंडारा देखने लायक है। लोगों को उनकी इच्छा के अनुसार भोजन मिलता है। भुमिया सरकार की कृपा ही है। लोगों ने कहा कि हम चाहते हैं कि यहां ऐसे कार्यक्रम बार-बार हों।


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Subhash is a well-known writer. He belongs to Jodhpur. His articles keep appearing in newspapers and magazines every day. Along with this, he also works with many news websites. He has always been the voice of farmers and the poor. His articles are always worth reading for the common people.

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