Ravindra Singh Bhati

Ravindra Singh Bhati:: राजस्थान लोकसभा चुनाव की सुपर हॉट सीट बाड़मेर में फिर पारा गर्म रविंद्र सिंह भाटी बैठे धरने पर

Ravindra Singh Bhati अब सिर्फ तीन दिन के बाद चार जून को राजस्थान और देश की सबसे गर्म सीट बाड़मेर का चुनावी परिणाम सबके सामने होगा। लेकिन इस घटना ने पहले से ही इस क्षेत्र में राजनीतिक हलचल पैदा की है। मामला: बाड़मेर केन्द्रीय जेल में एक कैदी की मौत का है

अब सिर्फ तीन दिन के बाद चार जून को राजस्थान और देश की सबसे गर्म सीट बाड़मेर का चुनावी परिणाम सबके सामने होगा। लेकिन इस घटना ने पहले से ही इस क्षेत्र में राजनीतिक हलचल पैदा की है। इस मामले में बाड़मेर केंद्रीय जेल में एक कैदी की संदिग्ध मौत का मुद्दा है।

जातिवाद और गरमाई राजनीति

बंदियों की मौत की घटना अचानक जातिवाद की राजनीति में बदल गई है। वास्तव में, शिव विधायक और निर्दलीय लोकसभा प्रत्याशी रविंद्र सिंह Ravindra Singh Bhati राजस्थान लोकसभा चुनाव की सुपर हॉट सीट बाड़मेर में फिर पारा गर्म रविंद्र सिंह भाटी बैठे धरने परभाटी ने मौके पर पहुंचकर जेल प्रबंधन के खिलाफ धरना दिया। मृत बंदी के परिजनों का समर्थन करने के लिए वे पूरी रात धरनास्थल पर ही रहे। आखिरकार जेलर को निलंबित किया गया और चिकित्सक को एपीओ किया गया।

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और बायतु विधायक हरीश चौधरी ने इस कार्रवाई का विरोध किया है। उन्हें जेल प्रबंधन की नीतियों का खुलकर विरोध था और इसे जातीय द्वेष भावना से प्रेरित कार्रवाई बताया था।

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हरीश चौधरी की चेतावनी

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बायतु से कांग्रेस विधायक हरीश चौधरी ने कहा, “हमने इस प्रकरण की न्यायिक जांच करके दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की थी।” लेकिन बाड़मेर जिला और पुलिस प्रशासन द्वारा जातीय द्वेष भावना से जेलर और चिकित्सक के खिलाफ जो कार्रवाई की गई है, वह दुर्भाग्यपूर्ण और असहनीय है।’

उन्होंने कहा, “पिछले कई समय से प्रशासन द्वारा बिना जांच के लगातार जातीय दबाव में कार्मिकों के निलंबन की कार्रवाई की जा रही है। सरकार इस अन्यायपूर्ण निर्णय को तुरंत रद्द करे नहीं तो हम जन आंदोलन करेंगे।

हमने बाड़मेर जेल में एक कैदी की मौत के मामले में न्यायिक जांच की मांग की थी और दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की थी।

लेकिन बाड़मेर जिले और पुलिस प्रशासन द्वारा जातीय द्वेष भावना से जेलर और चिकित्सक के खिलाफ जो कार्रवाई की गई है, वह बिना किसी जांच के हुई है।

Ravindra Singh Bhati भाटी ने महापड़ाव की चेतावनी दी थी

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शिव विधायक रविंद्र सिंह भाटी Ravindra Singh Bhati ने चिकित्सक और जेलर पर कार्रवाई से पहले धरने पर भी महापड़ाव की चेतावनी दी थी। “भीषण गर्मी में आमजन कूलर-एसी से दूर नहीं जा पाते, वहीं जेल में बीमारी से तड़प रहे इंसान को इलाज तक उपलब्ध नहीं करवाया गया,” उन्होंने कहा। एक भाई ने दूसरे भाई को मार डाला। एक घंटे बाद, चिकित्सक मौके पर आकर लीपापोती कर चले जाते हैं।

भाटी ने जेलर को छुट्टी देने और नामजद हत्या का मामला दर्ज करने तक धरना जारी रखने की घोषणा की। साथ ही दोषियों को समय रहते कार्रवाई नहीं करने पर महापड़ाव की चेतावनी दी।

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जिला कारागर में जय सिंह पुत्र कमल सिंह आकोड़ा की संदिग्ध मृत्यु अत्यंत दुखद है। उससे भी बदतर है कि पुलिस प्रशासन अब परिवार पर दबाव डाल रहा है कि वे इस मामले में चुप रहें।

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इधर, रविंद्र सिंह भाटी Ravindra Singh Bhati ने धरना समाप्त कर दिया।

गुरुवार देर रात वार्ताओं के दौर के बाद, केंद्रीय कारागार में बंदी की मौत मामले में गतिरोध खत्म हो गया। वार्ता में जेलर को हटाने और चिकित्सक को एपीओ करने का फैसला हुआ। इसके बाद दो दिनों का धरना समाप्त हो गया। धरने पर पहुंचे शिव विधायक रविंद्र सिंह ने वार्ता की जानकारी दी और इसे समाप्त कर दिया। मृतक के परिजनों और शिव विधायक रविंद्र सिंह भाटी ने लगभग 36 घंटे तक धरने पर रहे।

परिजनों ने जेल प्रशासन पर आरोप लगाया कि वह चिकन पॉक्स से पीड़ित बंदी को समय पर उपचार नहीं दिया। इसके बाद उन्होंने अपनी मांगों को लेकर धरना शुरू किया। दो दिनों में बातचीत हुई, लेकिन कोई समझौता नहीं हुआ। गुरुवार शाम को संभागीय आयुक्त और आईजी रेंज बाड़मेर पहुंचे। इसके बाद चर्चा का दौर शुरू हुआ, जो एक निष्कर्ष पर पहुंचा। बातचीत में शिव के विधायक रविंद्र सिंह भाटी, सिवाना के विधायक हमीरसिंह, चौहटन के विधायक आदूराम मेघवाल और स्वरूप सिंह खारा भी शामिल हुए।

मेडिकल बोर्ड की पोस्टमार्टम रिपोर्ट

बंदी का शव गुरुवार दोपहर बाद दूसरे दिन पोस्टमार्टम किया गया। रात को एक समझौता हुआ, जिसके बाद परिजनों के शवों को उठाने पर सहमति हुई।

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भाजपा का प्रतिनिधिमंडल

गुरुवार को पहले दिन, सिवाना विधायक हमीरसिंह, चौहटन विधायक आदूराम मेघवाल, पूर्व भाजपा जिलाध्यक्ष स्वरूप सिंह खारा, अधिवक्ता स्वरूप सिंह राठौड़, रूपसिंह राठौड़ और किशोर सिंह कानोड़ भी धरने पर पहुंचे। भाजपा नेता ने इस दौरान मामले को लेकर जिला कलक्टर निशांत जैन से भी चर्चा की। खारा ने कहा कि उसने मुख्यमंत्री से बातचीत की और मामले को बताया।

कारागार में मौत, बीमारी का खुलासा

जेल में बुधवार को एक बंदी की चिकन पॉक्स से मौत हो गई। परिजनों ने जेल प्रशासन पर उपचार में लापरवाही का आरोप लगाया। प्रशासन ने बाद में अस्पताल से एक चिकित्सा दल को अन्य कैदियों की जांच के लिए भेजा। तब अन्य कैदियों में भी चिकन पॉक्स की बीमारी पाई गई।

यहाँ, चिकन पॉक्स के मरीज

चिकित्सा महकमे ने बुधवार को बाड़मेर जेल में बीमारी फैलने की आशंका को देखते हुए कैदी जयसिंह की मौत चिकन पॉक्स से हुई थी। टीम ने वहां पर कैदियों को देखा। परीक्षण में संभावित लक्षणों से ग्रसित तीन बंदियों को गुरुवार को जिला अस्पताल में उपचार के लिए भर्ती किया गया।

टीम ने प्रभावित कैदियों का उपचार शुरू कर दिया है, जैसा कि जिला अस्पताल अधीक्षक डॉ. बीएल मंसूरिया ने बताया है। गुरुवार को तीनों को अस्पताल में भर्ती कराया गया था। बंदियों को शुक्रवार को जांच की जाएगी। वहीं, तीन से चार अन्य कैदियों में सामान्य लक्षण दिखाई देने पर उनका उपचार जेल में ही शुरू किया गया।


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Subhash is a well-known writer. He belongs to Jodhpur. His articles keep appearing in newspapers and magazines every day. Along with this, he also works with many news websites. He has always been the voice of farmers and the poor. His articles are always worth reading for the common people.

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